वामा विमर्श मंच का नवरात्रि उत्सव
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नागपुर। वामा विमर्श मंच ने नवरात्रि के रंग में रंगने के लिये देवी माँ के नव रूपों की सुंदर प्रस्तुति और रास गरबा का आयोजन किया। रंग बिरंगे परिधानों में सजी सखियों ने उत्साह पूर्वक प्रतिभागिता की। कार्यक्रम की अध्यक्षता डॉ. मधुलता व्यास ने की। मुख्य अतिथि मंदिरा गांगुली जी थीं। कार्यक्रम का संयोजन स्नेहल दाते ने और संचालन वामा अध्यक्ष रीमा दीवान चड्ढा ने किया।
कार्यक्रम का शुभारम्भ देवी के भजनों से हुआ। जिसकी सुंदर प्रस्तुति दी सीता शर्मा ,नीलम शुक्ला, मधुलता व्यास, मेनका अग्रवाल ,रितु शर्मा और शिल्पा तिवारी ने डॉ. मधुलता व्यास ने देवी के नव रूपों की व्याख्या की और सखियों ने प्रस्तुति दी। प्रथम देवी मां शैलपुत्री बनी भारती रावल, द्वितीय ब्रह्मचारिणी प्रतिभा भोले, तृतीय चंद्रघंटा अर्चना चौरसिया, चतुर्थ कुष्मांडा शिल्पा तिवारी, पंचमी स्कंदमाता (संतोष बुद्धराजा), षष्ठमी कात्यायनी किरण हटवार, सप्तमी कालरात्रि सीमा काचोरे, अष्ठमी महागौरी माया शर्मा, मेनका अग्रवाल, नवम सिद्धिदात्री रश्मि मिश्रा तथा मां शेरा वाली लक्ष्मी वर्मा बनी।
देवी मां के इन रूपों की प्रस्तुति ने मधुलता जी के वाचन के साथ पूरा न्याय किया। मंदिरा गांगुली ने नारी के देवी रूप की प्रस्तुति के साथ वर्तमान दौर में नारी की स्थिति पर अपनी प्रस्तुति दी - मैं ही दुर्गा मैं ही गौरी। मंदिरा जी के वाचन के साथ मंच पर छवि चक्रवर्ती, रीमा चड्ढा, रूबी दास और सुषमा भांगे ने प्रस्तुति दी। रंजना श्रीवास्तव ने देवी स्वरुप पर कुछ रोचक जानकारी दी।