गहरवार दम्पति ने रचा बालाघाट का इतिहास
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नागपुर/बालाघाट। नारी शक्ति बालाघाट (मध्यप्रदेश) जिले की प्रथम महिला जो 21 वर्षों से निरंतर प्रधान सम्पादक 'गंगोत्री' वार्षिक राष्ट्रीय एवं अंतर्राष्ट्रीय गद्य और पद्य पत्रिका है, 10 वर्षों से निरंतर प्रधान सम्पादक 'जागृति' वार्षिक पत्रिका जिसमें राजपूतों के गद्य और पद्य को प्रकाशित करवाती है, जो अध्यक्ष, राजपूत जागृति संगठन, अखिल भारतीय क्षत्रिय महासंघ भारत शाखा जिला बालाघाट में कार्यकारिणी सदस्य, अध्यक्ष इतिहास एवं पुरातत्व शोध संस्थान बालाघाट डाॅ. कविता गहरवार 'वीणा' प्रथम महिला के नाम पर पांच रुपये का भारतीय डाक टिकट जारी हुआ।
जिसका लोकार्पण राष्ट्रीय/ अंतर्राष्ट्रीय ख्याति प्राप्त वालीवुड की सुपरस्टार अभिनेत्री/गायिका डाॅ.चंद्रकला सिंह मुंबई (महाराष्ट्र) के हस्तें 26 फरवरी को राष्ट्रीय साहित्य एवं पुरातत्व महाभव्य अनुष्ठान का 21 वाँ में किया गया। पूर्व में 27 मई 2022 को आचार्य डाॅ. वीरेन्द्र सिंह गहरवार 'वीर' के नाम पर भारतीय डाक टिकट जारी हो चुका है, साथ ही इनका नाम शांति नोवेल पुरस्कार के लिए नामांकित होने की घोषणा की गई।
गहरवार दम्पति को राष्ट्रीय एवं अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर अनेकों आयोजित समारोह में अंलकृत किया गया है, दोनों की रचनाएँ देश-विदेश की लब्ध प्रतिष्ठित पत्र-पत्रिकाओं में प्रकाशित होते रहती हैं। डाॅ.वीरेन्द्र सिंह ने पुरातत्व में एम.ए.किया है तो डाॅ.कविता ने एम.ए.इतिहास में किया। दोनों एक दूसरे के पूरक हैं।
प्रति वर्ष राष्ट्रीय साहित्य एवं पुरातत्व महाभव्य अनुष्ठान आयोजित कर प्रतिष्ठित प्रबुद्ध जनों को आमंत्रित कर भव्यता के साथ एकाग्रचित्त होकर सम्मानित करते हुए गौरव की अनुभूति कर रहे हैं।