सत्संग यानी स्वंय का संग : दामोदर दास
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हरीओम शुक्राना में कीर्तन
नागपुर: हरी ओम शुक्राना, सिंधी कॉलोनी, खामला में दिव्या पंजवानी की स्मृति में एकादशी की पूर्व संध्या पर राधा कृष्ण भक्त परिवार के दामोदर दास के सत्संग का आयोजन किया गया.
सत्संग की शुरूआत 'हरे कृष्ण हरे कृष्ण, कृष्ण कृष्ण हरे हरे' 'हरे राम हरे राम, राम राम हरे हरे' महामंत्र से हुई. दामोदर दास ने संसार के बदलाव के चक्र पर प्रकाश डालते हुए कहा कि सांसारिक बंधनो में हर कोई इतना उलझा हुआ है कि उसे अपने आप के लिए समय नही रहता.
जबकि रिश्ते नाते सब परिस्थितियों के अनुसार बदलने में देर नही लगते. अनेक उदाहरणों को संगत के समक्ष रखते हुए अपने लिए समय निकालने एवं सत्संग कीर्तन का संग करने पर बल दिया.
इस अवसर पर हरीदेवी पंजवानी, मुस्कान, अमृता पंजवानी, विनीता, अंकिता कुंदनानी, पुष्पा, रिया लालवानी, सोनी, निकिता साधवानी, ममता जेसवानी, समायरा केवलरामानी, तुलसीदेवी चंदवानी, आंटी मीरादेवी जेठानी, रामप्यारी टेकचंदानी, बुधरानी, नरेश पंजवानी सहित बड़ी संख्या में संगत की उपस्थिति रही.