केंद्रीय मंत्री गडकरी के घर के सामने स्कूलों के खिलाफ पालकों ने किया आंदोलन
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नागपुर। फीस नहीं भरने पर ऑनलाइन क्लासेस बंद करने और छात्रों को परेशान करने का काम किया जा रहा है. फीस के अभाव में शिक्षा से वंचित रहने वाले छात्र भी मुश्किलों का सामना कर रहे हैं.
कोरोना काल में निजी स्कूलों की मनमानी से पालक परेशान हो गये हैं. मंगलवार को निजी
स्कूलों की मनमानी के खिलाफ पालकों की ओर से केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी के घर के सामने आंदोलन करते हुए पालकों ने संस्था चालकों की मनमानी से बचाने की मांग की. साथ ही स्कूलों पर अंकुश लगाने की भी मांग की गई. पालकों का कहना है कि केवल ऑनलाइन क्लासेस चल रही है. इसके बावजूद पूरी फीस किस आधार पर वसूली जा रही है. अनेक स्कूलों ने शिक्षकों का वेतन आधा कर दिया है. नॉन टीचिंग स्टॉफ को निकाल दिया है. इतने वर्षों से कमाई करने वाली शिक्षा संस्थाएं अचानक कैसे कंगाल हो गई हैं. पालकों की मजबूरी का फायदा उठाया जा रहा है. अब तक खुद पालक ही समय पर फीस भरते थे, लेकिन इस बार स्थिति विपरीत है. यही वजह है कि फीस में कटौती की जानी चाहिए.. शिक्षा संस्थाओं की मनमानी पर अंकुश लगाते हुए फीस कम करने की मांग की गई. शहर में निजी संस्थाओं की भरमार है. इन स्कूलों में हजारों छात्र पढ़ाई करते हैं, लेकिन कोरोना संकट की वजह से स्कूलों ने ऑनलाइन क्लासेस शुरू की. बच्चे घर में बैठकर पढ़ाई कर रहे हैं, जबकि स्कूलों द्वारा पूरी फीस वसूली जा रही है. पालकों का कहना है कि फीस में कटौती की जानी चाहिए ताकि पालकों के लिए भी आसानी हो सके. फीस नहीं भरने पर कई स्कूलों ने बच्चों की ऑनलाइन क्लासेस बंद कर दी. वहीं अब प्रवेश रद्द करने की भी चेतावनी दी जा रही है. इससे पहले भी पालक संगठनों की ओर से आंदोलन किये गये, लेकिन शिक्षा विभाग ने इस पूरे मामले में अपना हाथ झटक दिया. यही वजह है कि अब पालकों के पास कोई रास्ता नहीं रह गया है.